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मिडिल ईस्ट मे तनाव : Gulf देशों ने Iran को दिया भरोसा, अमेरिका को अपनी जमीन इस्तेमाल करने की इजाजत नहीं

मध्य पूर्व,ईरान,गल्फ देश,अमेरिका नई दिल्ली, 2 अप्रैल 2025: मध्य पूर्व में इन दिनों तनाव का माहौल है। खबरों के मुताबिक, संयुक्त अरब अमीरात (UAE), कुवैत, जॉर्डन और इस क्षेत्र के कई अन्य देशों ने हाल ही में ईरान के राष्ट्रपति को फोन करके भरोसा दिलाया है कि वे अमेरिका को अपनी जमीन या हवाई क्षेत्र का इस्तेमाल ईरान के खिलाफ किसी भी सैन्य कार्रवाई के लिए नहीं करने देंगे। यह खबर ऐसे समय में आई है जब अमेरिका और ईरान के बीच तनाव चरम पर है। क्या है पूरा मामला? पिछले कुछ हफ्तों से अमेरिका ने मध्य पूर्व में अपनी सैन्य ताकत बढ़ाई है। हाल ही में खबर आई थी कि अमेरिका ने कतर में अपने 16 कार्गो विमान उतारे हैं, जिसके बाद क्षेत्र में हलचल मच गई। दूसरी ओर, ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्लाह अली खामेनेई ने चेतावनी दी है कि अगर अमेरिका ने ईरान पर हमला किया, तो उसे करारा जवाब मिलेगा। इस बीच, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने भी धमकी दी है कि अगर ईरान ने नई परमाणु डील पर बातचीत नहीं की, तो सैन्य कार्रवाई की जा सकती है। गल्फ देशों का रुख गल्फ देशों का यह बयान एक बड़े कूटनीतिक बदलाव का संकेत देता है। कुवैत के ...

"ट्रंप ने सिराजुद्दीन हक्कानी पर 10 मिलियन डॉलर का इनाम हटाया: मुस्लिम समुदाय पर क्या असर?"

Trump Revoked Haqqani Bounty Reward  काबुल/वाशिंगटन, 23 मार्च 2025: एक चौंकाने वाले घटनाक्रम में, अमेरिका ने तालिबान के शीर्ष नेताओं पर दी जा रही इनामी राशि को वापस ले लिया है। इस सूची में तालिबान के बड़े नेता सिराजुद्दीन हक्कानी का नाम भी शामिल है, जिनके लिए पहले 10 मिलियन डॉलर (लगभग 83 करोड़ रुपये) का इनाम रखा गया था। इसके अलावा, अब्दुल अजीज हक्कानी और याह्या हक्कानी पर भी क्रमशः 5 मिलियन डॉलर का इनाम हटाया गया है। यह खबर तब आई है, जब हाल ही में तालिबान ने एक अमेरिकी नागरिक को रिहा किया था। क्या यह अमेरिका की नई कूटनीतिक रणनीति का हिस्सा है? आइए, इस खबर को विस्तार से समझते हैं। अमेरिका ने कई सालों से तालिबान नेताओं को पकड़ने या उनके बारे में जानकारी देने के लिए भारी-भरकम इनाम की घोषणा की थी। सिराजुद्दीन हक्कानी, जो तालिबान के कार्यवाहक गृह मंत्री हैं और हक्कानी नेटवर्क के मुखिया भी हैं, लंबे समय से अमेरिका की नजरों में रहे हैं। हक्कानी नेटवर्क को अमेरिका ने एक आतंकवादी संगठन घोषित किया हुआ है, और यह संगठन अफगानिस्तान में अमेरिकी और गठबंधन सेनाओं पर कई हमलों के लिए जिम्मेदार रहा ...